अब लेनी विदाई है।।
बीते हर पलों की आज
हमको याद आई है,
अन्तिम शाम आई है
अब लेनी विदाई है।।
वो हंसता खेलता आंगन
वो मां के प्यार का दामन,
पिता का हाथ पर रखना
वो मुस्काता हुआ बचपन,
सब याद बनकर
अब मेरे प्रत्यक्ष आई हअन्तिम शाम आई है
अब लेनी विदाई है।।
खेले खेल भईया संग
भन का प्रेम से लड़ना,
मिले सखियों से जब - जब भी
उन्हीं के रंग में रंगना,
सब कुछ छोड़कर जाने की बारी
आज आई है
अन्तिम शाम आई है
अब लेनी विदाई है।।
नज़रें ढूंढ़ती सब को
बहना को और भईया को,
मां पापा से गले मिलकर
आंखे नम हुई अब तो,
यादों के भंवर में
डूबने कि बारी आई है,
अन्तिम शाम आई है
अब लेनी विदाई है।।
मां कैसे कहूं तुमसे
मेरी हालत यह कैसी है,
घबराता है दिल मेरा
आंखे अश्कों से मिलती है,
संसार ने जाने
यह क्या रीति बनाई है,
अन्तिम शाम आई है
अब लेनी विदाई है ।।
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